डॉ सुमित्रा अग्रवाल
यूट्यूब आर्टिफीसियल ऑय को
आज कल एयरपोर्ट , एयरक्राफ्ट और कई जगहों पर लिखा हुआ दीखता है और अनाउंसमेंट भी सुनने को मिलता है की यहाँ सिग्रेटे स्मोकिंग या ई-सिगरेट मना है। सिगरेट तो सुना है ये ई-सिगरेट क्या है ?
ई-सिगरेट या इलेक्ट्रॉनिक निकोटिन डिलीवरी सिस्टम (ई एन डी एस) और इलेक्ट्रॉनिक गैर-निकोटीन डिलीवरी सिस्टम (ई एन एन डी एस), जिसे आमतौर पर ई-सिगरेट कहा जाता है, ऐसे उपकरण हैं जो एक एरोसोल बनाते हैं जो उपयोगकर्ता द्वारा सूंघ लिया जाता है। इनमें निकोटीन हो भी सकता है और नहीं भी। इसमें प्रोपलीन ग्लाइकोल हैं, ग्लिसरॉल के साथ या बिना, और स्वाद देने वाले एजेंट। ई-सिगरेट में तंबाकू नहीं होता है लेकिन यह स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है और सुरक्षित नहीं है।
हालांकि ईएनडीएस का विज्ञापन और प्रचार चैनलों के माध्यम से तेजी से बढ़ा है, जो इंटरनेट और सोशल मीडिया। इन उत्पादों के अधिकांश भ्रामक स्वास्थ्य दावों से बचे। भ्रामक दावों और युवाओं में विशेष रूप से जायके के लिए इनका उपयोग चिंता को जन्म देते हैं।
ई-सिगरेट बच्चों और किशोरों द्वारा उपयोग किए जाने पर विशेष रूप से जोखिम भरा होता है। निकोटीन अत्यधिक नशे की लत लगता है और बच्चों की दिमाग को विकसित होने में बाधा देता है।
ईएनडीएस के उपयोग से हृदय रोग और फेफड़ों के विकारों का खतरा बढ़ जाता है। वे उन गर्भवती महिलाओं के लिए भी महत्वपूर्ण जोखिम पैदा करते हैं जो उनका उपयोग करती हैं, क्योंकि वे गर्भ को नुकसान पहुंचा सकती हैं।
ईएनडीएस/ईएनएनडीएस को समाप्ति सहायता के रूप में तब तक प्रचारित नहीं किया जाना चाहिए जब तक कि पर्याप्त साक्ष्य उपलब्ध न हो और सार्वजनिक स्वास्थ्य समुदाय उन विशिष्ट उत्पादों की प्रभावशीलता पर सहमत न हो जाए।
जहां ई एन डी एस और ई एन एन डी एस प्रतिबंधित नहीं हैं, डब्लू एच ओ अनुशंसा करता है कि उत्पादों को ४ प्रमुख उद्देश्यों के अनुसार विनियमित किया जाए-
धूम्रपान न करने वालों, नाबालिगों और कमजोर समूहों द्वारा ईएनडीएस/ईएनएनडीएस की शुरुआत को रोकना।
ईएनडीएस/ईएनएनडीएस उपयोगकर्ताओं के लिए स्वास्थ्य जोखिमों को कम करना और गैर-उपयोगकर्ताओं को उनके उत्सर्जन के जोखिम से बचाना।
ईएनडीएस/ईएनएनडीएस के बारे में किए जा रहे अप्रमाणित स्वास्थ्य दावों को रोकना और तम्बाकू उद्योग के हितों सहित ईएनडीएस/ईएनएनडीएस से संबंधित सभी वाणिज्यिक और अन्य निहित स्वार्थों से तम्बाकू नियंत्रण की रक्षा करना।
आज के युवा तम्बाकू, सिग्रेटे का सेवन पहली बार स्टाइल दिखाने के लिए करते है , कोई जायके के लिए, कई ऐसे भी नवयुवक है जिनका ये मन्ना है की दुनिया में आये है तो सब कुछ एक बार तो टॉय करना चाहिए इस विचार धारा वाले लोग है , पहले बार तम्बाकू सेवन करते है , अब इन में से कई एक बार कर क चोर देती है और कईयों को ऐसी सांगत मिल जाती है या सेवन से आनंद अत है की धीरे धीरे ये लत में परिर्तित हो जाता है।
सुरुवात से ही – ‘न बार बार, न एक बार ‘ इस बात पर ही गौर करना होगा और कभी भी तम्बाकू सेवन करने से बचना होगा। सावधानी हटी और दुर्घटना घटी। युवाओ को समझना होगा सिगरेट न आन बान बढ़ाता है, न शान बढ़ाता है। अगर ऐसा होता तो हर महान आदमी के हाथ में , और उनकी तस्वीरों में हाथ में सिग्रेटे को दर्शाया जाता।