महिलाओं के लिए दिल्ली सबसे असुरक्षित, कांग्रेस बोली- महिला सुरक्षा को लेकर गृह मंत्री नहीं हैं गंभीर

टेन न्यूज नेटवर्क

नई दिल्ली (07 दिसंबर 2023): निर्भया कांड के बाद भी राजधानी दिल्ली के हालात सुधरे नहीं हैं। एनसीआरबी ने 2022 का आंकड़ा जारी कर दिया है, जिसके अनुसार राजधानी दिल्ली महिलाओं के लिए सबसे असुरक्षित राज्यों में से एक है। सरकार भले ही महिला सुरक्षा को लेकर बड़े-बड़े वादे करती है लेकिन एनसीआरबी के आंकड़ों ने सरकार की नींद उड़ा दी है। एनसीआरबी के आंकड़ों का हवाला देते हुए दिल्ली कांग्रेस ने आज सीधे तौर पर केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह पर जमकर निशाना साधा है।

दिल्ली प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष अरविंदर सिंह लवली ने कहा कि नेशनल क्राईम रिकॉड ब्यूरो NCRB की ताजा रिपोर्ट के अनुसार दिल्ली पूरे देश में महिलाओं के प्रति असुरक्षित है, अपराध में नंबर एक पर पहुंच गई है। जो कि चिंता का विषय है। उन्होंने कहा कि केन्द्र और दिल्ली सरकार की नाकामियों की वजह से वायु प्रदूषण में दिल्ली पहले से नंबर एक पर है।

कांग्रेस नेता लवली ने कहा कि केन्द्र सरकार का देश की राजधानी में कानून व्यवस्था और सुरक्षा की सीधी जिम्मेदारी है। जिसमें वो पूरी तरह नाकाम है। एनसीआरबी की रिपोर्ट के अनुसार पूरे देश में दिल्ली महिला अपराध में नम्बर वन होना बहुत ही शर्म की बात है। जबकि भाजपा महिला सुरक्षा का झूठा दावा करती है। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि दिल्ली पुलिस में 13000 से अधिक पद खाली है जिस कारण अपराध में बढ़ोतरी दर्ज हुई है।

भाजपा केवल राजनीति करती है और अपनी सरकार व गृह मंत्री से सवाल करने से डरती है, तो कांग्रेस के लोग महिला सुरक्षा पर उनके साथ गृहमंत्री से मिलने के लिए चलने को तैयार है। उन्होंने बताया कि कांग्रेस का एक प्रतिनिधिमंडल महिला सुरक्षा पर दिल्ली पुलिस आयुक्त से भी मिलने का समय मांगा गया है, ताकि हम अपने अनुभव के अनुसार सुझाव उनको दे सकें।

अल्का लांबा ने कहा कि दिल्ली की कानून व्यवस्था केन्द्र सरकार के आधीन होने के बावजूद केंद्रीय गृहमंत्री राजधानी दिल्ली की कानून व्यवस्था के प्रति दिशाहीन साबित हुए है। दिल्ली में प्रतिदिन 3 बेटियों के साथ बलात्कार हो रहे है, जिनके आहत परिवार के सदस्य उनकी जान की सुरक्षा के लिए अस्पतालों और न्याय के लिए पुलिस थानों और कोर्ट के चक्कर काट रहे है।

अलका लांबा ने बीजेपी पर निशाना साधते हुए कहा कि महिलाओं के प्रति अपराधों में 72.4 प्रतिशत की वृद्धि हुई है।2022 में महिलाओं के साथ 14158 मामले सामने आए जिनमें अपहरण के 5585 मामले थे। इसी तरह बच्चों के साथ अपराध जहां 2020 में 5000 हुए थे। वहीं 2022 में 7000  पहुंच गए, इसी तरह के मामले 4000 की जगह अब बढ़कर 5000 हुए। हत्या के मामलों में 20 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। उन्होंने केंद्रीय बाल विकास मंत्री की दिल्ली में महिलाओं के प्रति अपराधों पर चुप्पी पर सवाल उठाया।।