टेन न्यूज नेटवर्क
नई दिल्ली (20 सितंबर 2023): संसद के विशेष सत्र का आज तीसरा दिन है, जो 22 सितंबर तक चलेगा। वहीं आज महिला आरक्षण बिल पर लोकसभा में चर्चा की जा रही है। इस बीच आम आदमी पार्टी के नेता संजय सिंह ने इस बिल को लेकर केंद्र की मोदी सरकार पर निशाना साधा है। साथ ही उन्होंने इस बिल को ‘महिला बेवकूफ बनाओ’ बिल करार देते हुए सरकार से मांग किया है कि 2024 में इस बिल को लागू किया जाएं।
आप सांसद संजय सिंह ने कहा कि ”यह निश्चित रूप से महिला आरक्षण बिल नहीं है, यह ‘महिला बेवकूफ बनाओ’ बिल है। हम ऐसा इसलिए कह रहे हैं क्योंकि पीएम मोदी के सत्ता में आने के बाद से उनके द्वारा किए गए कोई भी वादे पूरे नहीं हुए हैं। यह उनके द्वारा लाया गया एक और ‘जुमला’ है। अगर आप बिल लागू करना चाहते हैं, तो आम आदमी पार्टी पूरी तरह से आपके साथ खड़ी है, लेकिन इसे 2024 में लागू करें। क्या आपको लगता है कि देश की महिलाएं मूर्ख हैं? महिला विरोधी बीजेपी बिल के नाम पर एक और ‘जुमला’ लेकर आई है। देश की महिलाएं, राजनीतिक दल इन चुनावी हथकंडों को समझते हैं। इसलिए हम कहते हैं कि अगर उनकी नियत साफ है तो 2024 में इसे लागू करें।”
AAP सांसद संजय सिंह ने आगे कहा कि “2024 में इनको(भाजपा) सत्ता से बाहर करके सही स्वरूप में महिला आरक्षण बिल लाने का काम हम करेंगे। लेकिन फिलहाल ये दोष INDIA गठबंधन पर न आए इसलिए ये फैसला हुआ है कि हम (महिला आरक्षण बिल) का समर्थन करेंगे। चर्चा में इसका विरोध करेंगे, सरकार से संशोधन की मांग भी करेंगे। पिछले बिल में जनगणना और परिसीमन की बात नहीं थी, अब आप इसे लटकाने के लिए ये सब लेकर आए हैं।”
सांसदों को दी गई संविधान की प्रतियों में ‘समाजवादी और धर्मनिरपेक्ष’ शब्द न होने के दावे पर आप नेता संजय सिंह ने कहा कि “उन दोनों शब्दों से बीजेपी को कोई मतलब ही नहीं है देश में अमन-चैन हो, धर्मनिरपेक्षता हो। जो हमारे बाबा साहब अम्बेडकर की सोच थी, जो हमारे संविधान निर्माता की सोच थी उससे इनका कोई लेना देना ही नहीं है। समाजवाद इन्हें करना ही नहीं है। इनको धर्मनिरपेक्षता और समाजवादी व्यवस्था से नफरत है ये देश का भला कर ही नहीं सकते।”
आपको बता दें कि केंद्रीय कानून मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने मंगलवार को महिला आरक्षण बिल को लोकसभा में पेश किया था। इस बिल का नाम ‘नारी शक्ति वंदन अधिनियम’ दिया गया है। ‘नारी शक्ति वंदन अधिनियम’ पारित होने के बाद लोकसभा में महिलाओं के लिए सीटों की संख्या 181 हो जाएगी। सरकारी सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक, यह बिल 21 सितंबर को राज्यसभा में पेश किया जाएगा।