टेन न्यूज नेटवर्क
नई दिल्ली (13 अगस्त 2023): मैथिली ठाकुर एक सुप्रसिद्ध भारतीय लोक गायिका हैं। उनका जन्म 25 जुलाई 2000 को हुआ। वह बिहार के मधुबनी जिले की रहने वाली हैं। मैथिली ठाकुर के पिता का नाम पिता रमेश ठाकुर है और माता का नाम भारती ठाकुर है। मैथिली के दो छोटे भाई हैं, जिनका नाम ऋषभ और अयाची है। उन्होंने संगीत अपने पिता से सीखा है। मैथिली ठाकुर के संगीत का सफर 2011 में शुरू हुआ। वह जी टीवी में प्रसारित होने वाले लिटिल चैंप्स रियलिटी शो में दिखाई दी थी। यहां से मैथिली का सफर शुरू हुआ, जो निरतंर जारी है। मैथिली का गायन उनके योग्यता और प्रतिभा की गरिमा है, जिसने उन्हें संगीत के क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण स्थान दिलाया।
संगीत का सफर:
मैथिली ठाकुर का संगीतीय सफर बचपन से ही शुरू हो गया था। उन्होंने अपनी संगीत शिक्षा अपने पिता से प्राप्त की । 4 साल की उम्र से ही शास्त्रीय संगीत सीखना शुरू कर दिया था, जबकि वर्तमान समय में वह भजन और लोकगीत गाने के साथ-साथ तबला और हार्मोनियम जैसे वाद्य यंत्रों को बजाना भी बखूबी जानती हैं। ऐसे में आज हम आपको मैथिली ठाकुर के जीवन से जुड़ी अहम बातें बताने जा रहे हैं, जिनसे ज्यादातर लोग अनजान हैं।
सफलता की ओर बढ़ते कदम:
मैथिली ठाकुर ने अपनी संगीत के सफर को स्वतंत्र रूप से आगे बढ़ाया और विभिन्न संगीत के शैलियों में अपनी पहचान बनाई। उन्होंने भारतीय शास्त्रीय संगीत के साथ-साथ पॉप और फोक संगीत का भी अद्वितीय मिश्रण प्रस्तुत किया। साल 2015 में उन्होंने जीनियस सिंगिंग स्टार का खिताब जीतने में सफलता हासिल की, जिसके बाद मैथिली ने फिर कभी पीछे मुड़कर नहीं देखा।
साल 2017 में मैथिली ठाकुर ने राइजिंग स्टार के मंच पर अपने गायन का अनोखा हुनर दिखाया था, जिसके बाद उनकी आवाज को पसंद करने वाले लोगों की संख्या दिन बदिन बढ़ती चली गई। इसी बीच मैथिली ठाकुर दिल्ली में रहते हुए बाल भवन इंटरनेशनल स्कूल से अपनी पढ़ाई भी पूरी कर रही थी, जिसके बाद उन्होंने आत्मा राम सनातन धर्म कॉलेज में एडमिशन ले लिया।
मैथिली ठाकुर की आवाज ने सोशल मीडिया प्लेटफ़ॉर्मों पर तहलका मचाया है। उनके गाने लाखों लोगों तक पहुँचते हैं और उनकी सोशल मीडिया पर लाखों फॉलोअर्स हैं। मैथिली ने अपने जीवन में कई उपलब्धियां हासिल की है, यहां हम आपको इनके कुछ पुरस्कार एवं सम्मान के बारे में बता रहें हैं।
वर्ष 2023 में चुनाव आयोग ने मैथिली ठाकुर को बिहार राज्य का “स्टेट आइकॉन” के रूप में नामित किया।
वर्ष 2021 में संगीत नाटक अकादमी के उस्ताद “बिस्मिल्लाह खान युवा पुरस्कार” के लिए बिहार के लोक संगीत में उनके योगदान के लिए उनको चुना गया था।
वर्ष 2015 में जीनियस यंग सिंगिंग स्टार सीजन 2 का खिताब जीती ।
टीवी शो इंडियन आइडल जूनियर 2 के टॉप 20 में अपनी जगह बनाई।
दिल्ली राज्य शास्त्रीय संगीत प्रतियोगिता में उन्हें पांच बार विजेता घोषित किया गया।
मैथिली ठाकुर एक ऐतिहासिक संगीत व्यक्तित्व है, जिनके गायन ने लोगों के दिलों में अपनी जगह बनाई है। उनकी प्रतिभा, मेहनत और संघर्ष ने उन्हें संगीत के क्षेत्र में उच्च स्थान पर पहुँचाया है। और उनका योगदान संगीत उद्योग को समृद्धि और गर्व महसूस कराता है। मैथिली ठाकुर को एक बड़ी जिम्मेदारी सौंपी गई है। इन्हें बिहार पर्यटन विभाग का ब्रांड एंबेसडर बनाया गया है। यह जानकारी बिहार दिवस के मौके पर दी गई। इससे पहले मैथिली वर्ष 2022 में बिहार खादी और हस्तशिल्प की ब्रांड एंबेसडर बनी।।