टेन न्यूज नेटवर्क
नई दिल्ली, (29/04/2023): दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल के आवास के रिनोवेशन में खर्च हुए ₹45 करोड़ को लेकर दिल्ली में सियासी बवाल मचा हुआ है। अरविंद केजरीवाल पर बीजेपी के तमाम नेता हमलावर हैं। इसे लेकर दिल्ली में अलग-अलग स्थानों पर अरविंद केजरीवाल के खिलाफ पोस्टर भी लगाए हैं।
इस बीच इस मसले पर संज्ञान लेते हुए दिल्ली के एलजी विनय सक्सेना ने दिल्ली सरकार से 15 दिन के अंदर जवाब मांगा है। इस बीच दिल्ली बीजेपी के पूर्व अध्यक्ष और सांसद मनोज तिवारी ने कहा कि अरविंद केजरीवाल का असली चेहरा जनता के सामने आ गया है। मनोज तिवारी ने आज उपराज्यपाल द्वारा दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के शीशमहल में खर्च हुए 45 करोड़ रूपये की जाँच के आदेश का स्वागत किया।
मनोज तिवारी ने उपराज्यपाल द्वारा इस पूरे मामले में जाँच का आदेश देना और रिपोर्ट को 15 दिन के अंदर सब्मिट करने के आदेश का स्वागत किया और कहा कि उपराज्यपाल द्वारा दिया गये आदेश ने एक बार फिर से साबित क़र दिया कि भारत में अभी भी संविधान और कानून सक्रिय है। केजरीवाल ने संवेदनहीनता के सारे मानक तोड़ दिए है और साथ ही भ्रष्टाचार की सारी सीमाएँ लाँघ दी है। उन्होंने कहा कि उपराज्यपाल द्वारा दिया गया आदेश केजरीवाल के तानाशाही रवैया और उनकी सोच कि वह संविधान और कानून से ऊपर हैं उनपर एक जोरदार तमाचा है।
मनोज तिवारी ने कहा कि अरविंद केजरीवाल और मुख्यमंत्री के पहले वाले केजरीवाल में अंतर आना बताता है कि उन्होंने जनता को भ्रमित करने की हमेशा से कोशिश की है। आज बड़े-बड़े कॉमन वेल्थ गेम के घोटाले करने वाले भी केजरीवाल के सामने बौने नजर आते हैं। मुख्यमंत्री केजरीवाल ने अगर चोरी और भ्रष्टाचार नहीं किया है तो अपने आवास में मीडिया वालों को घुसने क्यों नहीं देते हैं। हमारे यहाँ तो मीडिया सादर आमंत्रित हैं जबकि आम आदमी की बात करने वाले केजरीवाल के शीशमहल का दरवाजा हर किसी के लिए क्यों बंद हैं।।