AICA ने पेंशन सुधार को लेकर दिया धरना, छः सूत्रीय मांगों को लेकर पीएम को दिया आवेदन

टेन न्यूज नेटवर्क

नई दिल्ली, (05/12/2022): ऑल इंडिया कोयल पेंशनर एसोसिएशन के बैनर तले दिल्ली के जंतर मंतर पर एक दिवसीय विशाल धरने का आयोजन किया गया। जिसमें ऑल इंडिया कोल एसोसिएशन के प्रतिनिधि अलग-अलग राज्यों से आए हुए सरकार के सामने अपनी आवाज को बुलंद किया।

ऑल इंडिया कोल पेंशनर्स एसोसिएशन कोयला खदान पेंशन योजना में सुधार की मांग को लेकर लगातार सरकार से गुहार लगा रहे हैं लगभग 6 वर्ष हो गए लेकिन अभी तक उनकी मांग पुरी नहीं हुई है।

आपको बतादें कि कोयला खदान के कर्मचारियों को अंशदायी पेंशन योजना सीएमपीएस-1998 के तहत कवर किया गया है। इस योजना में लगभग 5.56 लाख कोयला कर्मचारी शामिल हैं, जो 31 मार्च, 1994 के बाद सेवानिवृत्त हुए। हालांकि, कई पेंशनभोगियों या उनकी विधवाओं को मासिक पेंशन के रूप में 500 रुपये से 1000 रुपये तक मिल रहे थे, जबकि सरकारी योजनाओं के तहत वृद्ध लोगों को दी जाने वाली पेंशन बहुत अधिक था।

 

ऑल इंडिया कोल पेंशनर्स एसोसिएशन के संयोजक पीके सिंह राठौड़ ने टेन न्यूज से बताया कि पूरे 6 वर्ष से हमलोग लगातार अपनी मांगों को लेकर प्रदर्शन कर रहे लेकिन सरकार हमारी मांगों को नहीं मन रही है। सीएमपीएस-1998 कुप्रबंधन के कारण त्रस्त था, जिसके परिणामस्वरूप कॉर्पस फंड का क्षरण हुआ और 24 साल पहले स्थापना के बाद से पेंशन में कोई वृद्धि नहीं हुई।

पीके राठौर ने अपनी मांगों को दोहराते हुए कहा कि कोयला खान परियोजना के पूर्ण गठन के लिए लोक लेखा समिति की 12 रिपोर्ट में निहित सुधारों पर त्वरित कार्यवाही हो जो कि 18 मार्च 2020 को संसद में प्रस्तुत किया गया। किसके साथ सो रिटायर लोग हैं उनकी तारीख के समान पेंशन सुनिश्चित करने के लिए पेंशन के हिस्से के रूप में महंगाई घटक राहत भी शामिल किया जाए।

सभी सरकारी और निजी कोयला कंपनियों से हर 3 साल में बढ़ाने के प्रावधानों के साथ ₹20 प्रति टन के अनिवार्य के संग्रह की प्रक्रिया तेज हो। हर 3 साल में पेंशन की समीक्षा और संशोधन करने के लिए सीएमपीएस 1998 में अधिनियम के प्रावधानों का पालन हो।।