मुंडका फैक्ट्री अग्निकांड की घटना को लेकर दिल्ली सचिवालय के बाहर हुआ विरोध प्रदर्शन

टेन न्यूज नेटवर्क

नई दिल्ली (19/05/22): आज भारत के क्रांतिकारी मजदूर पार्टी आरडब्ल्यूपी आई द्वारा दिल्ली सचिवालय पर दिल्ली सरकार के खिलाफ प्रदर्शन आयोजित किया गया। प्रदर्शन बीते दिनों मुंडका फैक्ट्री अग्निकांड के संदर्भ में था। आरडब्ल्यूपी आई ने इस घटना के शिकार हो गए श्रमिकों को इंसाफ, उचित मुआवजा मिलने व अन्य मांगों को लेकर प्रदर्शन किया। आपको बता दें कि मुंडका इलाके में 13 मई 2022 को सीसीटीवी कैमरे बनने वाली एक फैक्ट्री में भयंकर आग लगने से 27 मजदूरों की दर्दनाक मौत हो गई थी। कई मजदूर घायल हो गए थे।

दिल्ली में देश के कारखानों में घटी पहली ऐसी घटना नहीं है आए दिन कारखानों में ऐसे हादसे होते रहते हैं जिसमें श्रमिकों की जाने चली जाती है, 2019 में उत्तरी दिल्ली के अनाज मंडी में ऐसी ही एक घटना में 43 श्रमिक मारे गए थे, इसके अलावा पीरागढ़ी बवाना नरेला झिलमिल और उद्योग नगर की फैक्ट्री इलाकों में आग लगने से कई मजदूरों की मौत हुई है।

प्रदर्शन में शामिल लोगों ने कहा कि घटना की उचित जांच हो एवं दिल्ली सरकार की तरफ से जो मृतक परिजनों को 10 लाख की मुआवजा राशि की घोषणा की गई है उसे बढ़ाकर 50 लाख किया जाए। दिल्ली सरकार से इन्होंने मांग की है कि जल्द से जल्द मृतक परिजनों को 50 लाख मुआवजा दिया जाए एवं घटना पर संज्ञान लेते हुए दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए।

दिल्ली सचिवालय के बाहर भारी संख्या में एक जमावड़ा देखने को मिला। लोगों ने कहा कि लगातार इस तरह की के घटनाएं होती रहती है। लेकिन सरकार की तरफ से कोई उचित कदम नहीं उठाया जाता है। हम सरकार से मांग करते हैं कि इस घटना पर संज्ञान ले एवं जो परिवार इस से पीड़ित हैं उनको मुआवजा राशि जल्द से जल्द सरकार मुहैया करवाएं।

आपको बता दें कि इस पूरे घटनाक्रम पर राजनीति भी शुरू हो गई है, बीजेपी इसके लिए आम आदमी पार्टी को जिम्मेदार ठहरा रही है वहीं आम आदमी पार्टी का कहना है कि इस घटना के लिए सीधे तौर पर बीजेपी दोषी है।

प्रदर्शन में शामिल लोगों ने मांग की है कि दिल्ली के औद्योगिक क्षेत्रों में सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किया जाए। सारे श्रम कानूनों को सख्ती से लागू किया, मुंडका की घटना के दोषी मालिकों को सख्त सजा मिले। पीड़ित परिवारों को 50 लाख मुआवजा तत्काल प्रदान किया जाए। इसके साथ हीं इस घटना की जिम्मेदारी लेते हुए श्रम मंत्री और एमसीडी में मेयर तत्काल अपने पद से इस्तीफा दें।