जानें किस शुभ मुहूर्त दिन मनाया जाएगा महाशिवरात्रि का त्यौहार 24 अथवा 25 फरवरी
‘शिवरात्रि’ एक अत्यंत महत्वपूर्ण वृत्तांत का स्मरणोत्सव है।
यह सारी सृष्टि की समस्त मनुष्यात्माओं के पारलौकिक परमपिता परमात्मा के दिव्य जन्म का दिन है और सभी की मुक्ति तथा जीवनमुक्ति रूपी सर्वश्रेष्ठ प्राप्ति की याद दिलाता है।
इस कारण से शिवरात्रि सभी जन्मोत्सवों अथवा जयन्तियों में सर्वोत्कृष्ट है क्योंकि अन्य सभी जन्मोत्सव तो मनुष्यताओं अथवा देवताओं के जन्म दिन की याद में मनाए जाते हैं जबकि शिवरात्रि मनुष्य को देवता बनाने वाले, देवों के भी देव, धर्मपिताओं के भी पिता, सद्गति दाता, परमप्रिय, परमपिता परमात्मा के दिव्य और परम कल्याणकारी के जन्म का स्मरणोत्सव है।
महाशिवरात्रि का त्यौहार किस दिन मनाया जाए, इसके प्रति शिव भक्तों में दुविधा बनी हुई है।
इस बार चतुर्दशी तिथि दो दिन 24 और 25 फरवरी को रहेगी।
इन दो दिनों में पूजा-अर्चना और उपाय-अनुष्ठान करना शुभ रहेगा लेकिन उपवास और रूद्राभिषेक के लिए 24 फरवरी का दिन सर्वोत्तम है।
इस दौरान चारों पहरों की पूजा होगी पहला प्रहर सूर्यास्त संध्या समय 6.30 बजे, दूसरा पहर रात 9.41 बजे, तीसरा प्रहर रात 12.51 बजे एवं चौथा प्रहर तारों की छांव में चार बजे से सूर्योदय तक रहेगा।
24 फरवरी शुक्रवार को निशीथ कालरात्रि 12.14 बजे से 01.04 मिनट तक अत्यंत शुभ है।
ज्योतिष विद्वानों का कहना है 24 फरवरी को चतुर्दशी तिथि निशीथ व्यापिनी है। रात्रि 9.30 बजे चतुर्दशी तिथि का शुभआरंभ होगा।
जिसका प्रभाव 25 फरवरी की रात्रि 9.10 बजे तक रहेगा। 24 की रात्रि निशीथ काल 12.10 से लेकर 1.03 बजे तक रहेगा। पारण का समय 25 फरवरी 06:54 से 15:24
💐 ओउम् नमः शिवायः 💐